गठिया रोग के लक्षण, घरेलू उपचार(घरेलू उपाय), क्या खाएं और क्या ना खाएं | Gathiya Disease Symptoms and Home Remedy in Hindi
गठिया रोग जिसे हम आम बोलचाल की भाषा में अर्थराइटिस के नाम से जानते हैं. हड्डियों के जोड़ों में होने वाला रोग होता है. इस रोग में रोगी के हड्डियों के जोड़ों में बहुत जोरदार दर्द होता है. इसके साथ ही उसमे सूजन भी रहती है. साधारणतः इसे उम्र दराज़ लोगो की बीमारी माना जाता है. लेकिन आज की जीवन शैली को देखते हुए यह बिल्कुल नही कह सकते कि इससे युवा वर्ग अछूता रहेगा.
गठिया रोग (Gathiya Rog)
हमारे द्वारा किये गए भोजन के पाचन के पश्चात शरीर मे कई तरह के तत्व बनते है, जिनमे से एक यूरिक एसिड है. यह यूरिक एसिड ही जोड़ों में होने वाले गठिया रोग का कारक है. यह यूरिक एसिड जब हड्डियों के जोड़ों में जमा हो जाता है, तो गठिया का रूप ले लेता है.
गठिया रोग के लक्षण (Gathiya Rog ke Lakshan in Hindi)
गठिया रोग के लक्षण आमतौर पर अचानक नही दिखाई देते. यह समय के साथ धीरे धीरे विकसित होते है. वैसे तो गठिया रोग की पुष्टि डॉक्टर के जांच के बाद ही की जा सकती है. पर फिर भी कुछ लक्षणों के आधार पर यह अनुमान जरूर लगाया जा सकता है कि शरीर मे गठिया रोग की संभावना जन्म ले रही है.
जैसे
- जोड़ों में दर्द रहना
- जोड़ों में बिना किसी चोट के सूजन बना रहना
- बुखार आना
- चक्कर आना
- उठने-बैठने और चलने फिरने में दिक्कत महसूस करना
- शरीर में दुर्बलता महसूस होना
- भूख न लगना, वजन का कम होना
गठिया रोग के उपचार(घरेलू उपाय) (Gathiya Rog Ke Gharelu Upay)
- अदरक में कई ऐसे औषधीय गुण पाए जाते है, जो गठिया रोग के उपचार में सहायक होते है. गठिया के रोगी को सूजन वाली जगह पर अदरक का पेस्ट लगाना चाहिए. सूजन कम होने के साथ ही दर्द से भी राहत मिलती है. इसके अलावा दिन में कई बार अदरक की बनी हुई चाय पिये.
- लहसुन एक एंटीबायोटिक होने के साथ ही एक एंटीऑक्सीडेंट भी है. लहसुन का सेवन शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है. गठिया रोगी यदि सुबह उठने के बाद 2-3 कच्ची लहसुन की कलियां खाये तो इससे उन्हें गठिया रोग में होने वाले दर्द से राहत मिलेगी.
- लाल मिर्च भी गठिया रोगी को बहुत राहत दे सकती है. इसमे कैप्साइसिन नाम का एक तत्व पाया जाता है, जो दर्द को कम करने के लिए मुख्य रूप से जाना जाता है. कई ऐसे मरहम है जिनमे कैप्साइसिन पाया जाता है, उनको दर्द होने वाली जगह पर लगाया जा सकता है. इसके अलावा आप मिर्च को भी पीसकर लगा सकते है.
- गठिया रोग के उपचार में मालिश भी एक अहम उपचार के तौर पर जाना जाता है. यदि ये मालिश सरसों के तेल से की जाए तो यह सबसे बेहतर माना जाता है. इन उपाय को करने के लिए पहले सरसों के तेल को गरम करे. सरसों के तेल के साथ आप प्याज़ का रस भी मिला सकते है. इस मिश्रण को दर्द वाली जगह पर हल्के हाथों से मालिश करे. मालिश करने का सबसे बेहतर समय सोने से पहले का है. मालिश करने के पश्चात पैरों को किसी भी तरीके से मत धोएं. मालिश के उपरांत उस जगह पर कोई कपड़ा बांध सकते है, जिससे उस जगह की गरमाहट बनी रहे.
- हम बचपन से ही अपनी बुजुर्गों से सुनते ही आये है कि हल्दी कितनी गुणकारी होती है. कोई भी दर्द हो या कैसा भी जख्म हुआ हो उसमे हल्दी लगाना सबसे कारगर उपाय माना जाता है. हल्दी में एक क्युक्यूमिन नाम का तत्व पाया जाता है, जो दर्द को कम करने का काम करता है. गठिया के रोगी को हल्दी की 2-3 ग्राम मात्रा को पानी मे उबालकर ठंडा होने पर पिलाए. इसके ज्यादा मात्रा के सेवन बचे क्योंकि यह रक्त की स्थिति को प्रभावित कर सकती है.
- गठिया रोग की स्थिति में तुलसी एक बेहतर औषधि का काम करती है. इनके सेवन से 24 घंटे के अंदर ही असर दिख जाता है. गठिया रोगी दिन में 4-5 तुलसी की पत्तियों का सेवन करे. इसके अलावा तुलसी से बनी चाय भी बहुत फायदेमंद साबित होती है.
गठिया रोग में क्या खाना चाहिए. (Gathiya Rog Me Kya Khana Khaye)
- गठिया रोग में संतुलित भोजन करना चाहिए, जो आसानी से पच सके. जैसे- चोकर की रोटी , मूंग की दाल जो सबूत छिलके वाली हो.गेहूं, मक्का, जौ, राई, अंगूर, लहसून, अदरक, जामुन आदि का सेवन कर कर सकते है.
- गठिया रोग में अधिक से अधिक पानी पिये. इसके साथ ही पानी वाले फल जैसे खरबूज, तरबूज, कद्दू का सेवन अधिक से अधिक करे क्योंकि कद्दू में केरोटीन होता है, जो जोड़ो के दर्द से हमे राहत देता है.
- ग्रीन टी को पीने से भी दर्द कम होता है. इसमे बहुत अधिक मात्रा में एंटीऑक्सीडेंट और निकोटिन पाया जाता है, जो दर्द कम करता है. संतरा में विटामिन C होता है, जो की स्वास्थ्यवर्धक होता है. यह हड्डियों को मजबूत बनाता है.
- गठिया रोग में जड़ों वाले फल और सब्जियां बहुत फायदेमंद होती है. जैसे गाजर, आलू, शकरकंद इनका सेवन फायदा पहुचाता है. इसके अलावा अदरक का सूप भी पिया जा सकता है.
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गठिया रोग में क्या नही खाना चाहिए (Gathiya Rog Me Kya Nahi Khana Chahiye)
- लाल मांस में बहुत अधिक सेचुरेटेड वसा होता है, को सूजन बढ़ाने का काम करती है. लाल मांस मोटापा भी बढ़ाता है.
- गठिया रोग में मीठी चीजे नही खाना चाहिए. इसके अलावा ऐसी कोई भी चीज नही खाना चाहिए जिससे कार्बोहाइड्रेट का स्तर खून में बढ़ने लगे. क्योंकि इसकी अधिक मात्रा से शरीर मे सैकोटिन्स नाम का केमिकल उत्सर्जित होता है, जो सूजन को बढ़ाता है.
- तले हुए पदार्थों का सेवन नही करना चाहिए.
- शराब का अधिक सेवन नही करना चाहिए.
- डेरी के बने उत्पादों का सेवन नही करना चाहिए. इसमे दूध भी शामिल है. डेरी के उत्पादों में प्रोटीन अधिक पाया जाता है, जो कि घुटनो की सेहत के लिए अच्छा नही होता है.इनकी जगह आप प्रोटीन के लिए पालक, सूखे मेवे मूंगदाल आदि खा सकते है.
- नमक का अधिक सेवन सूजन को बढ़ाता है. इसलिए नामक का कम से कम सेवन करे.