कोरोना महामारी से होने वाले प्रभाव | Coronavirus Effects In India : “कोरोना” वर्तमान समय मे यह नाम सुनकर ही लोग डर जाते है लेकिन यह स्वाभाविक भी है, क्योंकि कोरोना ने हमारे जीवन को अत्यधिक प्रभावित किया है, वर्तमान मे इससे कोई भी अछूता नही है. सभी किसी ना किसी प्रकार से कोरोना से प्रभावित हुए है या हो रहे है कोरोना ने सिर्फ स्वास्थ्य दृष्टि से ही प्रभावित नही किया है अपितु आर्थिक, सामाजिक, भौतिक आदि स्तरों को भी प्रभावित किया है.
कोरोना का स्वास्थ्य पर प्रभाव | Coronavirus (Covid19) Effects On Health
अगर हम स्वास्थ्य के विषय मे देखते है तो प्रतिदिन अनेक लोग इस वायरस से संक्रमित हो रहे है तथा अनेक ठीक भी हो रहे है कुछ लोग अस्पताल मे ठीक हो रहे है तो कुछ लोग अपने घर पर (होम क्वारन्टीन) मे भी दवाईयां लेकर एवं डॉक्टरों के निर्देशो का पालन करके घर पर ही ठीक हो रहे है. लेकिन जो लोग कोरोना वायरस से संक्रमित नही हुए है उनमें से बहुत से लोगो की स्थिति भी चिंतनीय है और वो इसलिए कि वो लोग मानसिक रूप से इस वायरस से संक्रमित हो रहे है.
ऐसे बहुत से लोग है जो कोरोना के नाम से ही भयभीत है. कोरोना से सम्बंधित ख़बर सुनकर ही ब्लडप्रेशर की समस्या हो जाती है या घबराहट होने लगती है. इनके साथ ही व्यक्ति मानसिक रूप से भी बीमार हो जाता है इस प्रकार की समस्या से ग्रसित व्यक्ति लगभग हर परिवार मे मिल जायेंगे जो कि अत्यंत चिंतनीय है वही दूसरी तरफ कुछ लोगों कोरोना से बचने के लिये जरूरत से ज्यादा मात्रा मे काढ़ा या अन्य गर्म पदार्थों के सेवन कर रहे है जिससे भी स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो रही है इस प्रकार कोरोनकाल मे कोरोना के साथ- साथ अनेक स्वास्थ्य सम्बन्धित समस्याएं उत्पन्न हुई है.
कोरोना का आर्थिक विकास पर प्रभाव | Coronavirus Effects On GDP
कोरोनाकाल मे जहाँ एक ओर देश स्वास्थ्य समस्या से पीड़ित है, वहीँ देश आर्थिक समस्या से भी जूझ रहा है जिसके दुष्प्रभाव कई वर्षो तक रहेंगे. भारत सरकार द्वारा कोरोना से बचाव के कारण देशभर मे सम्पूर्ण लॉकडाउन लगाने का फैसला लिया गया जिसके परिणाम स्वरूप देश मे कोरोना ग्राफ़ मे कमी तो आई परन्तु देश को आर्थिक विकास के क्षेत्र मे बहुत नुकसान का सामना करना पड़ा.
यह आर्थिक संकट समाज के सभी वर्गों के लोगों को परेशान कर रहा है फिर चाहे वह अमीर हो, गरीब हो या मध्यमवर्गीय हर प्रकार के परिवार को किसी ना किसी प्रकार से आर्थिक संकट का सामना करना पड़ रहा है. अनेक प्रवासी मजदूरों को सबसे ज्यादा परेशान होना पड़ा है, उनको जीवनयापन के लिये मूलभूत आवश्यकताओं की पूर्ति हेतु भी संघर्ष करना पड़ रहा है.
सरकार द्वारा उठाए गए कदम
बहुत से छोटे व्यापारी, रोज कमाने वाले, ठेला चलाने वाले, चाय बेचने वाले ऐसे विभिन्न प्रकार के लोगो के लिए यह समय अकाल का समय बन गया. लेकिन इसमें इस प्रकार के मजदूरों, लोगो के लिये सरकार द्वारा उठाये गए कदम प्रशंसनीय है. उदाहरण के लिये गरीबों को मुफ्त राशन देना, प्रवासी मजदूरों को नि:शुल्क अपने घर तक पहुंचना आदि ऐसे कई प्रयास गरीबों की सहायता हेतु किये गये है और यह प्रयास केवल लॉकडाउन तक ही नही अपितु अनलॉक होने के बाद भी ऐसे जरूरतमंद लोगों के लिये सरकार द्वारा सहायता प्रदान की जा रही है जिसमे मुफ्त राशन को बढ़ा दिया गया तथा छोटे कामगारों जैसे ठेला गाड़ी वालो के लिये दस हजार रुपये का लोन उपलब्ध कराया गया जो उन्हें पुनः अपना काम शुरू करने के लिये सहायक हुआ है.
कोरोनाकाल मे भारत सरकार द्वारा लोगो की आर्थिक व अन्य सहायता की लिए योजनाएँ चलाई गई एवं एक बड़ा 20 लाख करोड़ का आर्थिक पैकेज दिया गया, जो देश की जीडीपी का 21.1% है. इसी के साथ भारत दुनिया का 5वॉ सबसे बड़ा आर्थिक राहत पैकेज देने वाला देश बन गया. भारतवासियों ने भी अपनी स्वेच्छानुसार गरीबों जरूरतमंद लोगों की सहायता भोजन बॉटकर, मॉस्क, सेनिटाइजर देकर व अन्य सामग्री देकर की. ऐसे मे भारत मे एक बार फिर अपने परोपकार, दूसरों की मदद, परिवार भाव जैसे आदि उदाहरण प्रस्तुत कर भारत की ऐतिहासिक संप्रभुता, एकता एवं अखण्डता को प्रदर्शित किया है.
कोरोना महामारी का शिक्षा के क्षेत्र पर प्रभाव | Coronavirus Effects On Education
इस महामारी के कारण शिक्षा पर बहुत प्रभाव पड़ा है आजकल पूरी शिक्षा प्रणाली डिजिटल हो गई है विद्यार्थी अपने घर बैठकर अपने मोबाईल से शिक्षा ग्रहण कर रहे है किंतु इससे एक ओर उन गरीब विद्यार्थी, गाँवो मे रहने वाले अनेक विद्यर्थियों का नुकसान भी हो रहा है क्योंकि ऐसे परिवार के विद्यार्थियों के पास ऐसा मोबाईल उपलब्ध नही है या फिर इंटरनेट के लिये बेलेंस डलवाने मे वो असमर्थ है जिससे वो उनकी शिक्षा प्राप्त नही कर पा रहे है जो कि चिंतनीय है. विद्यालय बन्द होने के कारण लगभग सभी छोटे निजी विद्यालयों के शिक्षकों को वेतन भी नही मिल पा रहा है जिससे उनको अपनी पारिवारिक आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. शिक्षा ही देश का भविष्य निर्धारित करती है अतः हमे जल्द से जल्द शिक्षा व्यवस्था को पहले जैसे चलायमान करने की आवश्यकता है.
कोरोना और बेरोजगारी | Coronavirus And Unemployment
इस वायरस के प्रभाव से लगभग कोई भी क्षेत्र अछूता नही है प्रत्येक क्षेत्र किसी न किसी प्रकार से प्रभावित हुआ ही है. देश का व्यापार क्षेत्र, औद्योगिक क्षेत्र, परिवहन, रेलवे इन सभी क्षेत्र से जुड़े लोगों को नुकसान हुआ है. देश मे बेरोजगारी की समस्या तो पहले से भी थी परन्तु इस महामारी के बाद तेजी से बेरोजगारी का विस्फोट हुआ है बहुत से उद्योग या तो बन्द हो गए है या फिर उन्होंने अपने कर्मचारियों की छटनी कर दी है जिससे भी बेरोजगारी की समस्या बड़ी है, जो चुनौतीपूर्ण है.
कोरोना महामारी से सीख | What We Learn From Covid 19
हर परिस्थिति के दो पहलू होते है, यदि कोरोना महामारी (Coronavirus) ने दुनिया की जीवन यात्रा मे अनेक बाधाएं पहुँचाई है तो कुछ अवसर भी प्रदान किये है जैसे
- वर्तमान मे व्यापार प्रणाली को पूर्णतः डिजिटल कर दिया है जिससे व्यपारियो का व्यापार क्षेत्र भी बढ़ा है, डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा मिला है.
- बहुत सी वस्तुएँ जिनका हम आयात करते थे, वो बन्द या कम हो जाने के कारण आजकल उन्हें हमारे देश मे ही निर्मित किया जा रहा है, जिससे रोजगार के अवसर बन रहे है
- इस प्रकार यदि हम अपनी सोच को सकारात्मक बना ले तो “आपदा भी अवसर” बन जाती है. अतः हमें इस महामारी से यही सीख लेना चाहिए कि हमे सदैव संकटों का सामना करने हेतु तैयार रहा चाहिए एवं इस बात को अपने जीवन मे उतारना चाहिए कि किसी भी परिस्थिति को धैर्य के साथ सकारात्मकता के द्वारा अपने अनुरूप बदला जा सकता है।
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