गन्ने से बनने वाले उत्पाद और उनका इस्तेमाल किन-किन चीजो में किया जाता है
गन्ना, आखिर कौन नहीं जानता इसके बारे में, चलिए फिर भी आपकी जानकारी के बता दे, गन्ना एक फसल है जिसे भारत के अलग-अलग राज्यों में खेतों में उगाया जाता है. गन्ने का स्वाद मीठा होता है, और इसलिए हम इसे कई तरह से इसका इस्तेमाल करते है. गन्ने की देश भर में कई प्रजातियां उगाई जाती है, जिनमें लाल, सफेद, काला, पौण्ड्रक, मनोगुप्ता आदि मुख्य हैं. गन्ने की इन्ही प्रजातियों की मदद से कई तरह के उत्पादों को बनाया जाता है जिसमे गुड़, चीनी, और शराब शामिल है.
तो चलिए गन्ने से बनाए जाने वाले उत्पादों के बारे में विस्तार से जानते है.
गुड़
गन्ने से बनने वाले उत्पादों में गूढ़ मुख्य है, बीते कुछ कालो में किसी के पानी मांगने पर उसे पहले गुड़ का टुकड़ा दिया जाता था बाद में पानी. आज भी लोग तीज त्योहारों और किसी शुभकार्य पर अपने रिश्तेदारों, इष्ट-मित्रो का स्वागत गुड़ से ही करते है. गुड़ बनाने के लिए गन्ने को खेत से निकलने के बाद उसका रस निकाला जाता है, उसके बाद उसको कुछ तापमान पर खूब गर्म किया जाता है. इसी विधि के बाद गुड़ बनकर तैयार होता है, जिसे हम बाद में बाज़ार से खरीदते है. इस गुड़ के कई औषधीय फायदे होते है.
अल्कोहल
अल्कोहल बनाने के लिए गुड़ की आवश्यकता होती है, गुड़ को अल्कोहल के लिए कच्चे माल के तौर पर इस्तेमाल किया जाता है. जैसा कि हम जानते है, उसमें 50% से अधिक चीनी होती है इसलिए इसका उपयोग पशुओं के चारे, साइट्रिक एसिड ग्लूटामिक को बनाने में किया जाता है.
भारत में हमेशा से गुड़ का उपयोग शुद्ध अल्कोहल बनाने में, मानव उपभोग और कई तरह के रसायनों के उत्पादन के लिए भी किया जाता है. आज बहुत तकनिकी विकास हो चूका है इसलिए इसका उपयोग पेट्रोल के साथ मिलाकर इंधन के रूप में भी किया जाने लगा है. आज भारत में 400 करोड़ लीटर से ज्यादा शुद्ध अल्कोहल और 150 करोड़ लीटर से ज्यादा ईंधन इथेनॉल का उत्पादन करने की क्षमता खुद भारत के पास है.
चीनी (शक्कर)
जब भी हम शक्कर की तरफ देखते है तो मन में यहीं सवाल उठता है कि आखिर चीनी(शक्कर) बनती कैसी है ? आपकी जानकारी के लिए बता दे, चीनी भी गन्ने से ही तैयार की जाती है. गुड़ बनाने के लिए गन्ने के रस को अलग प्रक्रिया से गुजरना होता है और उसे लोग घरो में खेतो में ही बना लेते है. पर चीनी को खास मिल, फैक्ट्री में मशीनों की मदद से तैयार किया जाता है.
गन्ने को मिल में लाने के बाद उसे मशीनों की सहायता से तोड़ा जाता है, फिर उसे रेशो में बदला जाता है. रेशे बनाते वक्त गन्ने में से उसका पूरा रस निकाल लिया जाता है और मशीनों में लगे पाइप की मदद से उसे आगे की प्रक्रिया के लिए आगे बढाया जाता है. फिर उस रस को बड़े-बड़े बायलर में डाला जाता है जहाँ उसे खूब गर्म किया जाता है, फिर अलग अलग टेंको से गुजरने के बाद शक्कर को अलग किया जाता है, बार बार गन्ने के रस को रिफाईन किया जाता है, ताकि उससे चीनी अलग की जा सके.
फिर चीनी को ठंडा करके क्रिस्टलाईज किया जाता है, उसके बाद उसे एक सेपरेटर की मदद से चीनी का मोटा दाना, छोटा दाना और बारीक़ दाना अलग कर लिया जाता है और फिर उनके बैग में पैक कर लिया जाता है. इस पूरी प्रक्रिया में काफी समय लगता है तब जाकर हमें गन्ने से चीनी मिल पाती है.
तो दोस्तों इस लेख में हमने गन्ने से बनने वाले उत्पाद और उनका इस्तेमाल के बारे में जाना, यदि आपको इस लेख से सम्बंधित कोई भी सवाल-जवाब हो हमे कमेंट में जरुर बताएं.
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