What is the difference between regular and speed, Power Petrol in hindi दोस्तों आप कभी की अपनी गाडी में पेट्रोल भरवाने जाते होने तो आपको पेट्रोल पंप पर दो तरह के पेट्रोल की सुविधा दी जाती होगी. कोई भी पेट्रोल पंप अपने पास दो तरह का पेट्रोल रखता हैं.
एक पेट्रोल सादा पेट्रोल होता हैं जो कि बेहद ही आम हैं. दूसरा पेट्रोल वह जिसे कंपनी द्वारा पॉवर फ्यूल भी कहा जाता हैं. हर पेट्रोलियम कंपनी ने पॉवर फ्यूल के नाम अलग-अलग रखे हुए हैं.
जैसे हिंदुस्तान पेट्रोलियम द्वारा इसे पॉवर (PoWer), भारत पेट्रोलियम द्वारा इसे स्पीड (Speed) और इंडियन आयल द्वारा इसे एक्स्ट्राप्रीमियम (xtra premium) नाम दिया गया हैं
तीनों कंपनियों के अलग अलग लोगो भी हैं. पॉवर फ्यूल की कीमत भी आम पेट्रोल से ज्यादा ही वसूली जाती हैं. तो आखिरकार क्या ऐसा क्या अलग होता हैं इन पेट्रोल में ऐसा कि इसकी कीमत ज्यादा हैं. और क्या अलग-अलग पेट्रोलियम कंपनी का पेट्रोल अलग-अलग होता हैं?
नार्मल और पॉवर पेट्रोल में अंतर (Difference Between Normal and Power Petrol in Hindi)
भारत में तीन तरह का पेट्रोल बेचा जाता हैं. जिनकी अलग अलग श्रेणी हैं.
1. नार्मल पेट्रोल Normal (unleaded)
2. प्रीमियम पेट्रोल Premium petrol (Power => HP / Speed=> Bharat Petroleum / Extra Premium=> Indian Oil)
3. हाई ओकटाइन पेट्रोल (Speed octane 97 => BP बेहद ही सीमित जगहों पर)
पेट्रोल का विभाजन पेट्रोल में मौजूद ओकटाइन नंबर से किया जाता हैं. प्रीमियम पेट्रोल का ओकटाइन नंबर नार्मल पेट्रोल से थोडा ज्यादा होता हैं.
आमतौर पर नार्मल पेट्रोल की ओकटाइन संख्या 87 से 89 के बीच होती हैं वही प्रीमियम पेट्रोल की ओकटाइन संख्या 91 से 93 के बीच रहती हैं.
ओकटाइन संख्या ज्यादा होते के कारण ही इसकी कीमत दो तीन रूपए ज्यादा ही रहती हैं.
ओकटाइन फ्यूल क्या होता हैं (Octane Fuel in Hindi)
हाई ओकटाइन वाले पेट्रोल का यह फायदा होता हैं कि यह इंजन में इंजन-नौकिंग (Engine Knocking) और डेटोनेटिंग (Detonation) को कम कर देता हैं.
इंजन-नौकिंग और डेटोनेटिंग एक मैकेनिकल टर्म हैं यदि सरल शब्दों में इसे समझने की कोशिश तो यह इंजन में आने वाली टक-टक की आवाजों को कम कर देता हैं.
यह इंजन-नौकिंग और डेटोनेटिंग इंजन की लाइफ पर असर डालती हैं. यदि आप इंजन-नौकिंग और डेटोनेटिंग के बारे में और जानना चाहते तो नीचे दिया गया विडियो देख सकते हैं.
हाई ओकटाइन वाला फ्यूल उन वाहनों के लिए सही रहता हैं जिसमे हाई कम्प्रेशन सिस्टम होता हैं. और जो वाहन इम्पोर्टेड हैं. पॉवर पेट्रोल इंजन को नौकिंग से बचाता है बल्कि इसे होने से भी रोकता हैं. यह इंजन में किसी भी तरह के अनुपयोगी पदार्थों को भी पैदा होने से रोकता हैं और इंजन को पूरी क्षमता से काम करने में मदद करता हैं.
हालाँकि इसका फायदा देखने के लिए आपको कम से कम दो-तीन टंकी पूरी पॉवर पेट्रोल से भरवानी पड़ेगी. क्योंकि इसका असर बहुत धीरे धीरे देखने को मिलता हैं. पॉवर पेट्रोल किसी भी इंजन के लिए यह प्रमाणिक करता हैं उससे ऐसे कार्यक्षमता मिले जिसके लिए उसको बनाया गया हैं.
पॉवर पेट्रोल इस लिए भी जरुरी हैं कि यह इंजन में किसी भी तरह की गन्दगी जमा होने रोककर सालों-साल इंजन को सुचारू रूप से चलने दे.
पॉवर फ्यूल के फायदे (Advantages of Power Fuel in Hindi)
1. इंजन के फ्यूल इंजेक्टर के इंटेक वाल्व पर जमा अनुपयोगी पदार्थों को निकलता हैं.
2. कंट्रोल ओकटाइन की आवश्यकता को बढ़ता हैं
3. पेट्रोल की ज्यादा से ज्यादा क्षमता का उपयोग करता हैं.
4. इंजन को और ताकत और रफ़्तार देता हैं.
5. इंजन को सुचारू रूप से चलाने में मदद करता हैं.
6. गैसों का उत्सर्जन कम करता हैं.
7. इन्टेक वाल्व पर कुछ भी जमा होने से रोकता हैं.
8. इंजन-नौकिंग की समस्या को कम करता हैं.
कौन सा पेट्रोल करना फायदेमंद हैं (Better Fuel between Normal Petrol and Power Petrol in Hindi)
अब आप यह सोच रहें होंगे कि कौन सा पेट्रोल सबसे अच्छा हैं. बेशक पॉवर पेट्रोल किसी भी इंजन के लिए बेहतर माना जायेगा. विशेषकर के उन वाहनों के लिए जो कि हाई सीसी वाले हैं.
लेकिन आम बाइक और आम दिनों में नार्मल पेट्रोल को यूज़ किया जा सकता हैं. यदि आप तेज गाडी नहीं चलते हैं और हाईवे पर नहीं जाते हैं तो नार्मल पेट्रोल से ही काम चला सकते हैं.
यदि आप एक्सट्रीम रेसिंग के शौकीन हैं और इंजन का हाई प्रेशर पर इस्तेमाल करते हैं तभी पॉवर फ्यूल डलवाना आपके लिए फायदेमंद रहेगा.