महाभारत में एक बहुत ही बड़े विद्वान थे जिनका नाम था विदुर. विदुर सभी कार्यो को करने में सक्षम थे. विदुर को महात्मा की उपाधि भी मिली हुई थी, उन्हें सब महात्मा विदुर कहा करते थे. महाभारत काल में विदुर ने कई नीतियों के बारे में बताया है. विदुर द्वारा दी गई नीतियां उस काल में बहुत उपयोगी थीं, किन्तु विदुर की नीतियाँ आज भी बहुत अधिक महत्व रखती हैं. यदि महात्मा विदुर की इन नीतियों का ध्यान रखा जाए, तो कोई भी व्यक्ति किसी भी परेशानी का हल आसानी से पा सकता है. विदुर ने अपनी नीति में ऐसी 4 बातों के बारे में बताया है, जिनका परस्पर ध्यान रखने से कोई भी मनुष्य किसी भी काम या कला में सफल हो सकता है.
आइये जानते है उन 4 कार्यो के बारे में–
विदुर नीति:-
निश्चित्य यः प्रक्रमते, नान्तर्वसति कर्मणः
अवन्ध्यकालो वश्यात्मा, स वै पण्डित उच्यते.
श्लोक का अर्थ:- जो कोई किसी कार्य को आरम्भ करने के पहले निश्चय कर लेता है, अपना कार्य करते समय कभी बीच में नही रुकता है, कभी भी अपने अमूल्य समय को व्यर्थ नही गँवाता है, और अपने मन को हमेशा अपने वश मे रखता है. विदुर के अनुसार वही विद्वान या पण्डित है, और अपने सभी कार्यो में सफल भी होता है.
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1. दृढ़ निश्चय
महात्मा विदुर के अनुसार, किसी भी कार्य में सफलता प्राप्त करने के लिए यह आवश्यक है कि उस कार्य को शुरू करने से पहले हमें पूरी तैयारी कर लेनी चाहिए. और यह भी दृढ़ निश्चय कर लेना चाहिए कि हमें इस कार्य में सफलता प्राप्त करनी है.
2. अपना काम किसी भी कारण से नही रोकें
ऐसा माना जाता है कि किसी भी कार्य को बीच में छोड़ना अच्छा नही माना जाता है. इसलिए किसी भी काम को शुरू करने पर उस कार्य को किसी भी कारण से बीच में न छोड़े, जब तक वह कार्य पूरा नही हो जाता है. किसी कार्य को बीच में छोड़ना सफलता में सबसे बड़ी रुकावट होती है.
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3. समय की कीमत समझे
ऐसा कहा जाता है कि जो व्यक्ति समय की कद्र नही करता है वह अपने जीवन में कभी सफल नही हो सकता है. जो मनुष्य समय को व्यर्थ ही खर्च करने वाला होता है, वह कभी भी सफलता नहीं प्राप्त कर सकता है.
4. मन को वश रखे
जो व्यक्ति अपने मन और अपनी इच्छाओं को अपने वश में नहीं रख सकता है, वह व्यक्ति कभी भी किसी भी काम में सफल नहीं हो सकता है. किसी भी कार्य में सफलता पाने के लिए यह आवश्यक है कि हम अपने मन को वश में रखें, तथा अनावश्यक इच्छाओं को अपने मन में जगह नही दें. किसी भी काम को पूरा करने में तथा उसमें सफल होने के लिए हमें काम के प्रति समर्पित होना जरुरी है.