हर किसी हिन्दू धर्म के घर में एक न एक इष्ट देव होते है या फिर देवी होती है | हिन्दू धर्म में इतने देवी देवता है जिनकी कोई गिनती नहीं है सेकड़ो भगवान से बना ये शक्तिशाली धर्म एक अपने आप में दुनिया का सबसे पवित्र धर्म है | लेकिन इस धर्म में सब घरो में एक मंदिर होता है और ऐसा होना आवश्यक है क्योंकि जैसे रोज़ सुबह उठ कर नमाज पढ़ी जाती है मुसलमान भाइयो द्वारा, वैसे ही हिन्दू धर्म में सुबह नित्य कर्म से मुक्त होते ही सबसे पहले स्नान कर भगवान को अगरबत्ती या दिए से पूजा की जाती है फिर ही घर का दिन प्रारम्भ होता है और ऐसा होना आवश्यक है वो भी हर घर में |
भारत देश में सबसे अधिक मान्यता माँ दुर्गा, गणपति जी , शिव , हनुमान , विष्णु , और काली माँ आदि देवी देवताओ को दी जाती है क्योंकि ये कुछ देवी देवता है जो की अधिक घरो के कुल देवी देव है या फिर इष्ट देव कह सकते है | कई लोग ऐसा मानते है की जो हमारे पूर्वज करते आ रहे है वो ही हमारे लिए उत्तम है और जिन्हे हमारे पूर्वज पूज रहे थे वे ही हमारे इष्ट देव है | लेकिन बाकायदा ऐसा होना जरुरी नहीं है क्योंकि असल में इष्ट देव वे होते है जिनके प्रति इंसान का सबसे अधिक लगाव होता है | जैसे की कई लोगो को भगवान शिव के प्रति अधिक प्रेम होता है तो उनके इष्ट देव शिव माने जाते है |
शास्त्रों के अनुसार सभी देवो को पूजने की जगह यदि इष्ट देव को पुरे तन मन से पूजा जाए तो वो सभी देवी देवताओ को पूजने सामान होता है बाकी देव के मुकाबले इष्ट देव की कृपा इंसान के ऊपर अधिक होती है | सबसे अधिक लाभ मिलता है तो वो है भगवान कृष्ण के और शिव के प्रति भक्ति रखने वाले लोगो को क्योंकि ये दो ऐसे देव है जो हर भक्त की पुकार सुनते है और हर किसी के चहिते होते है |